HDFC बैंक की प्रमुख गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (NBFC) HDB फाइनेंशियल सर्विसेज के गैर-सूचीबद्ध शेयरों में बीते एक महीने में जबरदस्त तेजी देखने को मिली है। कंपनी के शेयरों में 30 प्रतिशत की उछाल दर्ज की गई है, जो भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) द्वारा 3 जून, 2025 को उसके आईपीओ के मसौदा दस्तावेजों को मंजूरी दिए जाने से पहले आई है।
4 जून की सुबह 9:45 बजे HDB फाइनेंशियल सर्विसेज के गैर-सूचीबद्ध शेयरों की कीमत 1,275 रुपये प्रति शेयर रही, वहीं प्रमोटर एचडीएफसी बैंक के शेयर नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) पर 1,924.80 रुपये पर स्थिर दिखाई दिए।
अगर पूरे साल के आंकड़ों पर नजर डालें तो कंपनी के गैर-सूचीबद्ध शेयरों में 17.5 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है, जबकि बीते एक महीने में 30.8 प्रतिशत की तेजी रही है। हालांकि, पिछले छह महीनों में कंपनी के शेयरों में महज दो प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है, जिससे यह अवधि तुलनात्मक रूप से सुस्त नजर आती है।
HDB फाइनेंशियल सर्विसेज, जिसमें एचडीएफसी बैंक की 94% हिस्सेदारी है, अब एक प्रारंभिक सार्वजनिक पेशकश (IPO) के माध्यम से 12,500 करोड़ रुपये जुटाने की योजना बना रही है। इस प्रस्ताव में 2,500 करोड़ रुपये के नए इक्विटी शेयरों का निर्गम और 10,000 करोड़ रुपये के प्रमोटर की ओर से बिक्री की पेशकश (Offer for Sale – OFS) शामिल होगी।
मैक्वेरी कैपिटल के प्रबंध निदेशक सुरेश गणपति ने जनवरी 2025 में जारी एक विश्लेषणात्मक नोट में लिखा था कि HD फाइनेंशियल सर्विसेज के शेयर गैर-सूचीबद्ध बाजारों में उच्च मूल्यांकन पर बिक रहे हैं, जबकि उनके प्रतिद्वंद्वी, जो अधिक रिटर्न ऑन इक्विटी (ROE) और तेजी से विकास दे रहे हैं, अपेक्षाकृत कम मल्टीपल्स पर कारोबार कर रहे हैं।
गणपति के अनुसार, यदि शेयर 800 रुपये प्रति शेयर पर बिकते हैं, तो यह 3.0x P/BV (प्राइस टू बुक वैल्यू) पर ट्रेड करेगा, जो बजाज फाइनेंस जैसे प्रतिद्वंद्वियों के मुकाबले लगभग 30% की छूट को दर्शाता है। हालांकि, 1,240 रुपये के मूल्यांकन पर कंपनी का FY26F P/B 4.6x होता है।
उन्होंने लिखा, “हम यह देख रहे हैं कि उच्च ROE और ग्रोथ देने के बावजूद अन्य प्रतिस्पर्धी कंपनियां कम मल्टीपल्स पर कारोबार करती हैं।” उदाहरण के तौर पर, बजाज फाइनेंस, जिसकी ROA 4% है और जो FY24E में 34% की ग्रोथ दे रही है, वह अभी भी 3.8x FY26E P/BV पर ट्रेड कर रही है। वहीं श्रीराम फाइनेंस, जो 3% ROA देने में सक्षम है, फिर भी एचडीबी फाइनेंशियल की तुलना में कम मूल्यांकन पर कारोबार कर रही है।
HDB फाइनेंशियल सर्विसेज को सूचीबद्ध करने का निर्णय अक्टूबर 2022 में भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा दिए गए निर्देशों का पालन करता है। उस आदेश के तहत, ऊपरी परत (Upper Layer) में शामिल NBFC को तीन साल के भीतर शेयर बाजार में सूचीबद्ध होना आवश्यक है।
प्रस्तावित IPO के पूरा होने के बाद भी, एचडीबी फाइनेंशियल सर्विसेज एचडीएफसी बैंक की एक सहायक कंपनी बनी रहेगी और वह लागू विनियामक प्रावधानों का पालन करना जारी रखेगी।