ब्रोकरेज फर्म मोतीलाल ओसवाल का मानना है कि रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (RIL) के शेयर “आकर्षक” जोखिम-प्रतिफल प्रदान करते हैं और कंपनी के फ्री कैश फ्लो (FCF) जेनरेशन में आने वाले समय में तेजी की संभावना है।
मोतीलाल ओसवाल ने ₹1,580 के मूल्य लक्ष्य के साथ “खरीदें” की सिफारिश की है। यह शुक्रवार के समापन स्तरों से लगभग 20% की संभावित वृद्धि को दर्शाता है।
पिछला प्रदर्शन
पिछले कुछ वर्षों में रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयरों ने ब्याज, कर, मूल्यह्रास और परिशोधन (EBITDA) से पहले की आय में समान या बेहतर वृद्धि दर्ज करने के बावजूद बेंचमार्क सूचकांकों, भारती एयरटेल और अन्य संगठित खुदरा प्रतिस्पर्धियों की तुलना में कमजोर प्रदर्शन किया है।
ब्रोकरेज ने इसके लिए मुख्य रूप से तीन कारण बताए हैं:
- खुदरा व्यवसाय और जियो में उच्च पूंजीगत व्यय
- फ्री कैश फ्लो (FCF) जेनरेशन की कमी
- बाजार का कम सकारात्मक दृष्टिकोण
फ्री कैश फ्लो में सुधार की उम्मीद
ब्रोकरेज का कहना है, “हमारा मानना है कि रिलायंस का पूंजीगत व्यय अब अपने चरम पर पहुंच चुका है और वित्त वर्ष 2024-2027 के दौरान कंपनी ₹1 लाख करोड़ रुपये से अधिक का मुफ्त नकदी प्रवाह उत्पन्न कर सकती है।”
साथ ही, यह भी बताया गया कि वर्तमान में रिलायंस इंडस्ट्रीज अपने बियर-केस वैल्यूएशन के करीब कारोबार कर रही है, जिससे शेयर निवेशकों के लिए अधिक आकर्षक हो सकता है।
रिलायंस रिटेल और जियो की भूमिका
मोतीलाल ओसवाल ने कहा कि रिलायंस रिटेल की वृद्धि कंपनी के संभावित पुनर्मूल्यांकन के लिए महत्वपूर्ण बनी हुई है। वर्ष की दूसरी छमाही में इस सेगमेंट में वृद्धि तेज होने की उम्मीद है।
जियो और रिटेल सेगमेंट, दोनों ही वित्तीय वर्ष 2024-2027 के दौरान रिलायंस के समेकित EBITDA और शुद्ध लाभ में लगभग 10% चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (CAGR) से योगदान कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, बेहतर रिफाइनिंग मार्जिन के कारण O2C (ऑयल टू केमिकल) सेगमेंट की आय में भी सुधार की संभावना है।
नई ऊर्जा व्यवसाय की भूमिका
ब्रोकरेज ने नई ऊर्जा व्यवसाय को लेकर फिलहाल सतर्क रुख अपनाया है। वित्त वर्ष 2027 तक इस सेगमेंट से कोई बड़ा योगदान शामिल नहीं किया गया है। हालांकि, ब्रोकरेज का मानना है कि लंबी अवधि में पैमाने और लागत श्रेष्ठता के साथ यह सेगमेंट कंपनी के लिए एक प्रमुख लाभ चालक बन सकता है।
शेयर का मूल्यांकन
मोतीलाल ओसवाल ने रिलायंस के विभिन्न सेगमेंट का मूल्यांकन इस प्रकार किया है:
- स्टैंडअलोन व्यवसाय: ₹445 प्रति शेयर
- जियो प्लेटफॉर्म्स: ₹530 प्रति शेयर
- रिलायंस रिटेल: ₹600 प्रति शेयर
- नई ऊर्जा व्यवसाय: ₹44 प्रति शेयर
- डिज्नी जेवी में हिस्सेदारी: ₹26 प्रति शेयर
वर्तमान स्थिति
शुक्रवार को रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयर 0.8% गिरकर ₹1,311.6 पर बंद हुए। 2024 में अब तक कंपनी के शेयरों में केवल 1.3% की वृद्धि हुई है।
निष्कर्ष
रिलायंस इंडस्ट्रीज वर्तमान में बाजार के दबाव के बावजूद आकर्षक जोखिम-प्रतिफल का अवसर प्रदान करती है। मोतीलाल ओसवाल के अनुसार, आगामी वर्षों में फ्री कैश फ्लो और विभिन्न व्यवसायों से मजबूत प्रदर्शन के जरिए यह शेयर निवेशकों के लिए लाभदायक साबित हो सकता है।