यमन के ईरान समर्थित हौथी विद्रोहियों ने 24 घंटे में दो बार अमेरिकी जहाजों पर हमला करने का दावा किया है। हौथियों का कहना है कि ये हमले अमेरिका की कार्रवाई का बदला लेने के लिए किए गए हैं।
मुख्य घटनाएँ:
- हौथियों ने अमेरिकी विमानवाहक पोत यूएसएस हैरी ट्रूमैन और उसके साथ मौजूद जहाजों पर 18 मिसाइलें और एक ड्रोन दागने का दावा किया।
- कुछ घंटे बाद, उन्होंने फिर से हमले का दावा किया।
- अमेरिका ने अब तक इस पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है।
- हौथियों के अनुसार, अमेरिकी हमलों में 53 लोगों की मौत हुई, जिसमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल थे।
- अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चेतावनी दी कि हौथियों पर “भारी घातक हमला” किया जाएगा।
अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रियाएँ:
- ईरान ने अमेरिकी हमलों की आलोचना करते हुए कहा कि अमेरिका को उसकी विदेश नीति में दखल देने का कोई हक नहीं है।
- संयुक्त राष्ट्र ने दोनों पक्षों से सैन्य हमले रोकने की अपील की है।
- हमास ने अमेरिकी हमले को अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन बताया।
समुद्री व्यापार पर असर:
- हौथियों के हमलों की वजह से कई व्यापारिक जहाज अब लाल सागर के बजाय दक्षिणी अफ्रीका के रास्ते से जाने पर मजबूर हो गए हैं, जिससे व्यापार महंगा हो गया है।
यमन पहले से ही भयानक मानवीय संकट से जूझ रहा है और यह संघर्ष हालात को और खराब कर सकता है।

