बुधवार को बेंगलुरु के एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर उस समय अफरा-तफरी मच गई जब रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) की ऐतिहासिक आईपीएल जीत का जश्न मनाने हजारों की संख्या में प्रशंसक एकत्र हो गए। पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, गेट नंबर 7 के पास मुफ्त पासों की अफवाह फैलने के बाद भारी भीड़ इकट्ठा हुई, जिससे भगदड़ जैसी स्थिति पैदा हो गई। इसमें कथित तौर पर 11 लोगों की मौत और 40 से अधिक लोग घायल हो गए, हालांकि इन मौतों की आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है।
अराजकता की शुरुआत: एक छोटी सी अफवाह और विशाल भीड़
राजाजीनगर निवासी अचिमन्या ने बताया, “लोगों ने पूरी तरह नियंत्रण खो दिया था। पुलिस ने हमें कब्बन पार्क के रास्ते से जाने को कहा, लेकिन तब तक भगदड़ मच चुकी थी।”
अफरा-तफरी के दौरान, लोग चारों ओर भागने लगे — कुछ रिचमंड सर्कल की ओर दौड़े, तो कुछ अनिल कुंबले सर्कल तक पहुंच गए। चारों ओर चीख-पुकार थी और हर कोई जान बचाने की कोशिश में था।
संदेशों में भ्रम और आयोजन में असमंजस
सुबह 11:56 बजे बेंगलुरु ट्रैफिक पुलिस ने घोषणा की कि स्टेडियम में कोई रोड शो नहीं होगा, सिर्फ एक अभिनंदन समारोह होगा। लेकिन दोपहर 3:14 बजे RCB के आधिकारिक ट्विटर अकाउंट ने पोस्ट किया कि “विजय परेड के बाद स्टेडियम में जश्न मनाया जाएगा और मुफ्त पास उपलब्ध हैं।” इस विरोधाभासी जानकारी से हजारों लोग स्टेडियम की ओर उमड़ पड़े।
कई लोग केवल खिलाड़ियों की झलक पाने आए थे, कुछ को लगा कि मुफ्त टिकट बांटे जा रहे हैं, जबकि कुछ के पास वैध पास थे लेकिन वे भी भीड़ में फंस गए।
पुलिस की तैयारियाँ नाकाफी, हालात失 नियंत्रण
शाम करीब 4 बजे गेट 3 को आंशिक रूप से खोला गया। इसके बाद भीड़ बेकाबू हो गई। धक्का-मुक्की में कई लोग गिर पड़े और कुछ ने बैरिकेड्स लांघने की कोशिश की। स्थिति तब और बिगड़ गई जब 5:30 बजे बारिश शुरू हो गई।
25 वर्षीय सिनचना एन ने कहा, “जैसे ही गेट खुला, लोग टूट पड़े। एक कांच का पैनल टूट गया और कई लोग घायल हो गए। मैं सौभाग्यशाली थी कि देर से पहुंची, वरना मैं भी फंस सकती थी।”
पुलिस भीड़ को नियंत्रित नहीं कर सकी और अंततः शाम 6:30 बजे कब्बन पार्क सर्कल के पास हल्का लाठीचार्ज करना पड़ा।
भीड़ नियंत्रण में नाकामी, नम्मा मेट्रो ने रोकी सेवाएं
अत्यधिक भीड़ को देखते हुए नम्मा मेट्रो ने कब्बन पार्क और डॉ. बी.आर. अंबेडकर स्टेशनों पर ट्रेनों का रुकना अस्थायी रूप से बंद कर दिया। मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि स्टेडियम की क्षमता लगभग 35,000 है लेकिन 2–3 लाख लोग वहां पहुंच गए थे।
उन्होंने कहा, “किसी ने नहीं सोचा था कि इतनी भीड़ उमड़ेगी। आयोजन क्रिकेट एसोसिएशन द्वारा किया गया था, लेकिन यह साफ है कि तैयारी नाकाफी थी।”
उपमुख्यमंत्री डी.के. शिवकुमार ने माफी मांगते हुए कहा, “हमें इतनी भीड़ की उम्मीद नहीं थी। हम इस घटना के लिए क्षमा चाहते हैं। गेट टूट चुके हैं और जांच का आदेश दे दिया गया है।”
हादसे की मानवीय पीड़ा
मृतकों में 14 वर्षीय देव्यामशी भी शामिल थी, जो अपनी माँ और परिवार के अन्य सदस्यों के साथ आई थी। उसकी दादी ने शवगृह के बाहर कहा, “मैंने अपनी पोती खो दी।”
नवीन बी नामक एक युवक, जो इस कार्यक्रम में भाग लेने के लिए छुट्टी लेकर आया था, ने कहा, “अगर रोड शो रद्द नहीं होता, तो शायद लोगों को बेहतर ढंग से संभाला जा सकता था। यह पूरी तरह से प्रशासन की विफलता है।”
एक प्रत्यक्षदर्शी महेश ने बताया, “हमने गिरे हुए लोगों के चारों ओर मानव श्रृंखला बनाई ताकि वे उठ सकें। एक महिला को CPR दिया गया और एम्बुलेंस में ले जाया गया।”
सरकार का मुआवजा और जांच का आदेश
कर्नाटक सरकार ने मृतकों के परिवारों को 10 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है। इस घटना की उच्च स्तरीय जांच के आदेश भी दे दिए गए हैं।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, भगदड़ तब शुरू हुई जब बिना पास वाले लोगों ने वैध पासधारकों के साथ जबरदस्ती अंदर घुसने की कोशिश की। एक अधिकारी ने कहा, “भीड़ में कुछ लोग एक-दूसरे को धक्का देकर अंदर घुसने की कोशिश कर रहे थे, जिससे स्थिति बिगड़ गई।”
आरसीबी और क्रिकेट जगत की प्रतिक्रिया
रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु ने एक आधिकारिक बयान जारी कर शोक व्यक्त किया और कहा, “हमें मीडिया रिपोर्ट्स के जरिए इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना की जानकारी मिली है। हम बेहद दुखी हैं और सभी प्रभावित परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हैं।”

विराट कोहली ने इस बयान को रीपोस्ट करते हुए लिखा, “मेरे पास कहने को शब्द नहीं हैं। मैं पूरी तरह टूट चुका हूं।” उनकी पत्नी अनुष्का शर्मा ने भी यह बयान साझा किया।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी ने भी गहरा दुख प्रकट किया है।
इस घटना ने यह साफ कर दिया है कि भीड़ नियंत्रण और सार्वजनिक आयोजन में समन्वय की भारी कमी किस तरह मानवीय त्रासदी का कारण बन सकती है। भले ही मौतों की पुष्टि अभी तक नहीं हुई है, लेकिन जो दृश्य सामने आए हैं, उन्होंने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया है।